Tripura
$20.00
Author: | Neerja Madhav |
ISBN 13: | 9789384343934 |
Binding: | Hardbound |
Language: | Hindi |
Year: | 2019 |
Subject: | Hindi Literature |
About the Book
मानव-मन स्वभावतः अपने सच्चिदानंद स्वरूप आत्मा की खोज में भटकता है, जिसे अज्ञान के कई आवरणों को भेदकर ही पाया जा सकता है।
यह आवरण कैसे हटे? ज्ञान कैसे उपलब्ध हो? इस नवन्यास का मुख्य प्रतिपाद्य है। त्रिपुरा इस नवन्यास की महानायिका हैं। सृष्टि की उत्पत्ति से लेकर पूरे ब्रह्मांड में सूक्ष्म व्याप्ति के साथ-साथ स्थूल विग्रह स्वरूप में सुमेरु पर्वत पर लोक-कल्याण हेतु निवास करने तक की कथा में दत्तात्रेय और परशुराम संवाद करते उपस्थित रहते हैं। प्राचीन शास्त्रों, विशेषरूप से तंत्रशास्त्र की भाषा गूढ़ और सांकेतिक होती है। भाषा की उस सांकेतिकता को आज के संदर्भ में डीकोड करने की आवश्यकता है। इसके रहस्य को समझे बिना, संकेत को जाने बिना शक्ति और शक्तिमान के गूढ़ रहस्य को नहीं समझा जा सकता। उसके अभाव में यह नवन्यास मात्र एक आख्यान सा लगेगा। त्रिपुरा आदिशक्ति हैं और उन्हें धारण करनेवाले परम तत्त्व के रूप में शक्तिमान हैं। त्रिपुरा नवन्यास उसी शक्ति और शक्तिमान की पृष्ठभूमि है।